August 2, 2025 |

NEWS FLASH

Latest News
उपभोक्ताओं को मिलेगी हर 30 मिनट की बिजली खपत की जानकारीअब गांजा पीने वाले भी जाएंगे जेल, रायपुर पुलिस ने शुरू की कार्रवाईधारासिव के पनखत्ती तालाब में मिला अज्ञात भ्रूण, इलाके में सनसनी11 लाख की लूट निकली फर्जी: कर्ज से उबरने रची थी साजिश, आरोपी गिरफ्तारउद्योग मंत्री श्री लखन लाल देवांगन को 14419 सदस्य बनाने पर मुख्यमंत्री और भाजपा प्रदेश अध्यक्ष ने किया सदस्यता रत्न सम्मान से सम्मानितकलेक्टर ने वनांचल ग्राम खोभा, जोब एवं पंडरापानी का किया सघन निरीक्षणनहर में डूबने से युवक की मौतलाखों के गांजे के साथ अंतर्राज्यीय तस्कर सुभाष तिवारी गिरफ्तारधर्मांतरण और मानव तस्करी के आरोप में गिरफ्तार ननों को मिली जमानतकोरबा पुलिस की क्राइम मीटिंग: अपराध नियंत्रण और यातायात व्यवस्था पर जोर
छत्तीसगढ़नेशनल

17 नक्सलियों ने किया आत्मसमर्पण, सुरक्षा बलों की सख्ती और पुनर्वास नीति का असर

Gram Yatra Chhattisgarh
Listen to this article

कोठागुडेम (ग्रामयात्रा छत्तीसगढ़ )। छत्तीसगढ़-तेलंगाना सीमा क्षेत्र में एक बड़ी सफलता हाथ लगी है। भद्राद्री कोठागुडेम जिले की पुलिस के समक्ष 17 सक्रिय नक्सलियों ने आत्मसमर्पण कर दिया है। ये सभी लंबे समय से माओवादी संगठन से जुड़े थे और बस्तर क्षेत्र में कई नक्सली गतिविधियों में शामिल रहे हैं।

सुरक्षा बलों के अभियान का दबाव बना आत्मसमर्पण की वजह

पुलिस सूत्रों के अनुसार, ये नक्सली तेलंगाना-छत्तीसगढ़ सीमा पर सक्रिय थे और बस्तर में लगातार चल रहे सघन अभियान से दबाव में थे। हथियार डालने का निर्णय इसी दबाव का नतीजा माना जा रहा है।

सरकार की पुनर्वास नीति बनी बदलाव की वजह
राज्य और केंद्र सरकार की पुनर्वास और आत्मसमर्पण नीति का भी इस आत्मसमर्पण में अहम योगदान बताया गया है। अधिकारियों ने कहा कि सरेंडर करने वाले नक्सलियों को सुरक्षा, रोजगार, कानूनी सहायता और पुनर्वास की सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी।

लगातार हो रहे आत्मसमर्पण से संगठन की पकड़ कमजोर
गौरतलब है कि कुछ दिन पहले सुकमा जिले में दो एरिया कमांडर समेत 14 नक्सलियों ने सरेंडर किया था, जिनमें 13 नक्सली बीजापुर जिले से थे। यह सिलसिला बताता है कि नक्सल संगठनों पर सुरक्षा बलों की रणनीति और सख्त कार्रवाई का प्रभाव पड़ रहा है।

पुलिस अधीक्षक का बयान
भद्राद्री कोठागुडेम के पुलिस अधीक्षक ने कहा, “सरकार की योजनाओं और पुलिस की निरंतर कार्रवाई से नक्सलियों का हौसला टूट रहा है। ये आत्मसमर्पण उसी का संकेत है।” उन्होंने उम्मीद जताई कि आने वाले समय में और भी नक्सली मुख्यधारा से जुड़कर समाज का हिस्सा बनेंगे।

17 नक्सलियों का आत्मसमर्पण सुरक्षा बलों और सरकार की नीति के लिए एक बड़ी उपलब्धि है। यह घटनाक्रम दर्शाता है कि बस्तर और सीमावर्ती इलाकों में शांति की दिशा में ठोस प्रगति हो रही है। उम्मीद की जा रही है कि इसी तरह और भी नक्सली हिंसा छोड़कर विकास और भरोसे की राह पर लौटेंगे।

 

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Check Also
Close