हिन्द एनर्जी पर हत्या और जमीन कब्जाने का गंभीर आरोप: गौतम पोर्ते ने बिलासपुर कलेक्टर से की निष्पक्ष जांच की मांग

कोरबा। हरदी बाजार निवासी सोहन सिंह पोर्ते की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत ने पूरे क्षेत्र को झकझोर कर रख दिया है। मृतक के बेटे गौतम पोर्ते ने हिन्द एनर्जी प्रबंधन पर अपने पिता की हत्या का आरोप लगाया है। उन्होंने बिलासपुर कलेक्टर अवनीश शरण को ईमेल के माध्यम से इस मामले में निष्पक्ष जांच कराने की मांग की है। गौतम ने अपनी शिकायत में गंभीर आरोप लगाए हैं, जिसमें उनके पिता के नाम पर मौजूद जमीन को लेकर कंपनी द्वारा किया गया अनुचित दबाव और उनकी हत्या का मामला शामिल है।
जमीन को लेकर गहराया विवाद
गौतम के अनुसार, उनके पिता सोहन सिंह पोर्ते 2008 से हिन्द एनर्जी में कार्यरत थे। सरल और विवादों से दूर रहने वाले सोहन सिंह के नाम पर बिलासपुर जिले के सीपत तहसील के हिंडाडीह गांव में एक जमीन थी। यह जमीन कंपनी की नजर में थी, लेकिन सोहन सिंह के आदिवासी होने के कारण जमीन बेचना कानूनी तौर पर संभव नहीं था। जब उन्होंने जमीन बेचने से इनकार किया, तो कंपनी के प्रबंधन ने उनके पिता पर दबाव डालना शुरू कर दिया।
2023 में संदिग्ध मौत और डर का साया
गौतम ने बताया कि अप्रैल 2023 में उनके पिता को कंपनी के मैनेजर अब्दुल हबीब और अन्य ने घर से बुलाया। अगली सुबह उनका शव पेड़ से लटका हुआ मिला। गौतम का दावा है कि पुलिस ने बिना जांच के ही मामले को आत्महत्या बताकर दबा दिया।
फर्जी दस्तावेज़ और जमीन हड़पने का आरोप
सबसे चौंकाने वाली बात यह है कि सोहन सिंह की मौत के बाद उनकी जमीन 2024 में हिन्द मल्टी सर्विसेस के नाम पर ट्रांसफर कर दी गई। गौतम का कहना है कि यह पूरी प्रक्रिया फर्जी दस्तावेजों और राजस्व अधिकारियों की मिलीभगत से अंजाम दी गई।
पुलिस और प्रशासन पर गंभीर सवाल
गौतम ने कोरबा पुलिस पर भी गंभीर आरोप लगाए हैं। उनका कहना है कि पुलिस ने न केवल मामले को दबाने की कोशिश की, बल्कि पंचनामा में उनके फर्जी हस्ताक्षर भी करवा लिए।
गौतम ने बिलासपुर कलेक्टर से मामले की स्वतंत्र जांच की मांग की है। उनका कहना है कि दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होनी चाहिए और उनके परिवार को न्याय मिलना चाहिए।
यह घटना प्रशासन और कानून व्यवस्था पर सवाल खड़े करती है। क्या सोहन सिंह पोर्ते को न्याय मिलेगा? या यह मामला भी अन्य मामलों की तरह दबा दिया जाएगा?