छत्तीसगढ़

विश्व बाल श्रम निषेध दिवस के अवसर पर विधिक साक्षरता शिविर का अयोजन

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कोंडागांव (ग्रामयात्रा छत्तीसगढ़ )। विश्व बाल श्रम निषेध दिवस के अवसर पर प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश/अध्यक्ष जिला विधिक सेवा प्राधिकरण कोण्डागांव, श्रीमती किरण चतुर्वेदी के मार्गदर्शन एवं सचिव जिला विधिक सेवा प्राधिकरण कोण्डागांव सुश्री गायत्री साय के नेतृत्व में प्रतिधारक अधिवक्ता कोण्डागांव सुरेन्द्र भट्ट के द्वारा शासकीय औद्योगिक प्रशिक्षण संस्था (आईटीआई) कोण्डागांव में विधिक जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया।

विश्व बाल श्रम निषेध दिवस के अवसर पर आयोजित इस शिविर का मुख्य उद्देश्य बाल श्रम की समस्या के प्रति जागरूकता फैलाना तथा समाज में बच्चों के अधिकारों की रक्षा हेतु विधिक जानकारी प्रदान करना रहा।

शिविर में प्रतिधारक अधिवक्ता ने संबोधन में कहा कि बाल श्रम (निषेध एवं विनियमन) अधिनियम के तहत 14 वर्ष से कम उम्र के बचों से मजदूरी कराना कानूनी अपराध है तथा ऐसे मामलों में सजा और जुर्माना का प्रावधान है। बाल श्रमिकों के मानसिक, शारीरिक एवं समाजिक पर पड़ने वाले नकारात्मक प्रभावों पर प्रकाश डाला।

साथ ही शिविर में उपस्थित छात्र-छात्राओं, प्रशिक्षकों और आम नागरिकों को बाल श्रम के दुष्परिणामों के बारे में बताया गया तथा बाल श्रम को समाज से समाप्त करने हेतु जागरूक किया गया। साथ ही बाल अधिकारों, शिक्षा के महत्व तथा विधिक सहायता सेवाओं के साथ-साथ विधिक अधिकारों, साइबर सुरक्षा, बाल विवाह निषेध अधिनियम, पॉक्सो एक्ट अधिनियम, यातायात अधिनियम तथा निःशुल्क विधिक सहायता जैसी योजनाओं की जानकारी प्रदान की गई।

शिविर के अंत में बाल श्रम उन्मूलन के समर्थन में सभी प्रतिभागियों ने सामूहिक रूप से शपथ ली कि वे किसी भी रूप में बाल श्रम को बढ़ावा नहीं देंगे तथा इसकी रोकथाम में सक्रिय भूमिका निभाएंगे। इस अवसर पर आईटीआई कोण्डागांव से संस्था प्रमुख अरूण कुमार सिंह, विजयपाल सिंह एवं अधिकार मित्र लोकेश यादव, रंजन बैध उपस्थित रहे।

 
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