रायपुर। नई सरकार की नये साल पर आज कैबिनेट की हुई बैठक में कुछ बड़े फैसले हुए। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की अध्यक्षता में हुई बैठक में निर्णय लिया गया कि नान घोटाले की एसआईटी जांच कराई जाएगी।
मंत्री परिषद की बैठक में कृषि विभाग का नाम कृषि एवं कृषक कल्याण विभाग रखने का निर्णय लिया गया। बीते साल की तूलना में इस बार 20 प्रतिशत ज्यादा धान खरीदी का लक्ष्य रखा गया है।
पिछले बार 75 लाख मीट्रिक टन धान खरीदी का जो लक्ष्य था उसकी जगह अब 85 लाख मीट्रिक टन धान खरीदी की जाएगी। बहुचर्चित नान घोटाले की एआईटी जांच कराने पर फैसला हुआ। जांच आईजी के नेतृत्व में होगी।
विशेषकर नॉन घोटाले की जांच में जो डायरी हाथ लगी थी उसके पेज नंबर 107 में दर्ज नामों की विवेचना होगी। पूर्व में नान मामले में जब्त डायरी के सिर्फ छह पेज को जांच में लिया गया था। शिक्षा कर्मियों के संविलियन का निर्णय लिया गया है।
आबकारी नीति का मुद्दा भी चर्चा में आया। तत्कालीन आबकारी अध्ययन दल की रिपोर्ट खारिज कर दी गई। इस अध्ययन दल का गठन पिछली सरकार में हुआ था। बैठक में विधानसभा में 5 जनवरी को होने वाले राज्यपाल के अभिभाषण को मंजूरी दी गई।