छत्तीसगढ़

कोरबा: एसईसीएल की भूविस्थापित महिलाओं ने कर दी अंतिम लड़ाई की शुरुआत, कुसमुंडा कार्यालय के मुख्य द्वार पर जड़ा ताला

Spread the love
Listen to this article

कोरबा। SECL और जिला प्रशासन की लगातार उदासीनता और संवेदनहीनता के खिलाफ भूविस्थापित महिलाओं ने आज अलसुबह अपनी अंतिम लड़ाई की शुरुआत कर दी। पूर्व घोषणा के अनुसार, कुसमुंडा क्षेत्र से प्रभावित महिलाओं ने रोजगार, बसाहट, पुनर्वास और अन्य सुविधाओं की मांग को लेकर कुसमुंडा प्रबंधन तथा अधिकारियों के विरुद्ध कड़ा विरोध दर्ज कराया।

महिलाओं ने कुसमुंडा कार्यालय के मुख्य द्वार पर ताला जड़ दिया है और चेतावनी दी है कि आंदोलन से उत्पन्न किसी भी अप्रिय स्थिति या कोयला उत्पादन में बाधा के लिए SECL प्रबंधन और जिला प्रशासन जिम्मेदार होगा।

22 वर्षों से जारी है संघर्ष

कुसमुंडा परियोजना से प्रभावित भूविस्थापित महिलाएँ पिछले 22 वर्षों से रोजगार, बसाहट और अन्य लंबित समस्याओं के समाधान के लिए लड़ाई लड़ रही हैं। आंदोलन में गोमती, केवट, काजल, इन्द्रा, सरिता टिकैतराम बिंझवार, पूनम और मीना कंवर शामिल हैं।इनका कहना है कि जब तक उनकी मांगों का ठोस समाधान नहीं किया जाता, तब तक वे कुसमुंडा मुख्य महाप्रबंधक कार्यालय के दोनों मुख्य गेट जाम कर अनिश्चितकालीन धरने पर बैठी रहेंगी।

वादाखिलाफी से बढ़ा आक्रोश
ज़्यादा जानें

सबसे अच्छे वेकेशन पैकेज

महिलाओं ने बताया कि 17 नवंबर 2025 को भी उन्होंने कुसमुंडा कार्यालय में गेट जाम आंदोलन किया था। उस समय दर्री तहसीलदार ने मौके पर पहुंचकर यह लिखित आश्वासन दिया था कि 21 नवंबर 2025 को बैठक आयोजित कर समाधान किया जाएगा।
लेकिन वह वादा भी अधूरा रह गया, जिससे महिलाओं में भारी आक्रोश है।

भूविस्थापित महिलाओं का वक्तव्य

“हम वर्षों से गेट जाम, खदान बंद और दफ्तरों के चक्कर लगाते-लगाते थक चुके हैं। SECL और जिला प्रशासन के झूठे आश्वासनों से त्रस्त होकर अब हमने निर्णायक लड़ाई शुरू की है। 21 नवंबर की बैठक का वादा भी छलावा साबित हुआ। अब समाधान हुए बिना गेट नहीं खोलेंगे।”

मुख्य मांगें
पात्र भूविस्थापितों को तत्काल रोजगार दिया जाए।
सम्मानजनक एवं समुचित बसाहट की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए।
सभी लंबित मांगों का समयबद्ध निराकरण किया जाए।

 
HOTEL STAYORRA नीचे वीडियो देखें
Gram Yatra News Video

Live Cricket Info

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button