July 31, 2025 |

NEWS FLASH

Latest News
महिला अधिकारी ने डीएमसी के खिलाफ की थी झूठी शिकायत ! प्रशासन की जांच में आरोप पाए गए गलत, किसके शह पर बिछाए गए थे मोहरे पढ़िए पूरी रिपोर्ट…शोक समाचार :  पत्रकार एवं छत्तीसगढ़ अखबार वितरक संघ के प्रदेश अध्यक्ष विनोद सिन्हा नहीं रहेONC BAR पर प्रशासन की चुप्पी पर उठा विवाद, विश्व हिंदू परिषद ने जताई नाराज़गीबिलासपुर कलेक्टर की अनुकरणीय पहल – पशु व जनहित में सराहनीय कदमसीएम साय ने किया ‘गौ विज्ञान परीक्षा अभियान 2025’ का शुभारंभग्रीन उद्यम की परिकल्पना को साकार करने साय सरकार दे रही विशेष पैकेज: उद्योग मंत्री श्री लखन लाल देवांगनबालको महिला मंडल ने धूमधाम से मनाया तीज महोत्सव“जब कोई साथ नहीं होता… तब ‘आगाज़ इंडिया’ साथ होता है” ‘आख़िरी सफर’ — एक संवेदनशील और मानवीय पहलकोरबा मेडिकल कॉलेज में अब ‘सफाई घोटाला’ ! एक माह का टेंडर बना 6 माह का, अपात्र फर्म को काम देने की तैयारी, 100 की जगह 200 सफाईकर्मी करने की साज़िश ?रायगढ़-रायपुर NH में बिखरे मिले मवेशियों के शव तेज रफ्तार ने ली 18 गायों की जान
छत्तीसगढ़

रोजगार मिलने से विशेष पिछड़ी जनजाति परिवारों का होगा सामाजिक एवं आर्थिक विकास : लखनलाल

Gram Yatra Chhattisgarh
Listen to this article

108 पहाड़ी कोरवाओं-बिरहोर युवाओं को मिला नियुक्ति प्रमाण पत्र

डीएमएफ से किया जाएगा मानदेय का भुगतान, स्कूलों में भृत्य और अतिथि शिक्षक के रूप में करेंगे कार्य

रायपुर, 24 जून 2024/ जिले में निवासरत् विशेष पिछड़ी जनजाति समुदाय पहाड़ी कोरवा और बिरहोर जनजाति के 108 बेरोजगार युवाओं को वाणिज्य, उद्योग एवं श्रम मंत्री श्री लखन लाल देवांगन, विधायक कटघोरा श्री प्रेमचंद पटेल, जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती शिवकला कंवर, महापौर श्री राजकिशोर प्रसाद एवं कलेक्टर श्री अजीत वसंत के हाथों जिला खनिज न्यास मद से मानदेय के आधार पर उनके निवास के नजदीक के स्कूलों में योग्यतानुसार भृत्य एवं अतिथि शिक्षक के रूप में नियुक्ति का प्रमाण पत्र प्रदान किया गया। इस अवसर पर मुख्य अतिथि मंत्री श्री देवांगन ने कहा कि आज का दिन ऐतिहासिक है, प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने खनन प्रभावित क्षेत्र के विकास के लिए डीएमएफ का प्रावधान किया था, आज इसका लाभ धरातल पर नजर आ रहा है। जिले के मूल निवासी पहाड़ी कोरवाओं और बिरहोरों को डीएमएफ से रोजगार मिलने जा रहा है, यह एक बड़ी उपलब्धि है। किसी भी परिवार में एक सदस्य को भी नौकरी मिल जाती है तो परिवार खुशहाली के रास्ते पर आगे बढ़ता है, ठीक रोजगार मिलने से पहाड़ी कोरवा तथा बिरहोर जनजाति समाज का आर्थिक तथा सामाजिक विकास होगा और वे विकास के रास्ते पर आगे बढ़ेंगे। डीएमएफ से मानदेय के आधार पर 79 विशेष पिछड़ी जनजाति परिवार के युवाओं को भृत्य तथा 29 युवाओं को अतिथि शिक्षक के रूप में रोजगार प्रदान किया गया।कलेक्ट्रेट सभाकक्ष में आयोजित विशेष पिछड़ी जनजाति वर्ग के शिक्षित बेरोजगार युवाओं को रोजगार प्रदाय करने नियुक्ति प्रमाण पत्र वितरण कार्यक्रम में मुख्य अतिथि श्री देवांगन ने आगे कहा कि देश के प्रधानमंत्री विशेष पिछड़ी जनजाति परिवारों को विकास की राह पर आगे लाने निरंतर प्रयासरत् हैं। प्रधानमंत्री जनमन योजना के माध्यम से उन्होंने पीवीटीजी निवासरत् क्षेत्रों में बुनियादी आवश्यकताओं की पूर्ति कर उनकी समस्याओं का निराकरण किया है। प्रदेश के मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय भी छत्तीसगढ़ को विकास की राह में आगे ले जाने के लिए योजना बनाकर कार्य कर रहे हैं। किसान सम्मान निधि, समर्थन मूल्य में वृद्धि, आयुष्मान योजना के माध्यम से किसानों और आम लोगों को लाभ मिलने की बात कहते हुए उन्होंने कहा कि शिक्षा, स्वास्थ्य के क्षेत्र में विकास के साथ ही छत्तीसगढ़ महतारी वंदन योजना से प्रदेश की गरीब महिलाओं का आर्थिक विकास हो रहा है। उन्होंने कहा कि जिला खनिज न्यास मद से क्षेत्र का विकास होने के साथ ही रोजगार के अवसर भी पैदा हो रहे हैं। जिले के प्रतिभावान विद्यार्थियों को नीट व जेईई जैसी परीक्षाओं की तैयारी के लिए कोचिंग की व्यवस्था भी कराई गई है।



कार्यक्रम में विधायक कटघोरा श्री प्रेमचंद पटेल ने कहा कि कोरबा जिले की पहचान कोरवा जनजाति परिवारों से है। जनप्रतिनिधि होने के नाते मूल निवासियों का उत्थान कैसे हो यह निरंतर ध्यान में रहता है। यह ख़ुशी की बात है कि जिले के विद्यार्थियों को प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी हेतु एक दिन पहले ही अध्ययन के लिए बाहर भेजने के पश्चात आज जिले के विशेष पिछड़ी जनजाति परिवारों को अपने ही गांव के आसपास रोजगार मिल रहा है। उन्होंने कहा कि रोजगार से हम अपने पिछड़ेपन को दूर कर विकास के रास्ते पर आगे बढ़ सकते हैं और अपना भाग्य भी बदल सकते हैं। विधायक श्री पटेल ने पीएम जनमन योजना से पीवीटीजी को विकास की राह पर जोड़ने प्रधानमंत्री द्वारा किए गए प्रयास का जिक्र करते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ शासन और जिला प्रशासन की पहल पर पिछड़ी जनजाति परिवारों को आगे आने का मौका मिला है। उन्होंने आकांक्षी जिला के रूप में चिन्हित कोरबा की पहचान विकास के माध्यम से सामान्य जिले के रूप में होने की कामना की। कार्यक्रम में महापौर श्री राजकिशोर प्रसाद ने कहा कि डीएमएफ से रोजगार का अवसर मिलना, डीएमएफ से जिले के प्रतिभावान विद्यार्थियों को निःशुल्क कोचिंग की सुविधा राजधानी में मिलना एक बड़ी उपलब्धि है। विशेष पिछड़ी जनजाति परिवार आर्थिक रूप से संपन्न नहीं है, ऐसे में रोजगार मिलने पर उनके जीवन स्तर में बदलाव होगा। पारिवारिक एवं सामाजिक वातावरण भी बदलेगा। इसलिए रोजगार प्राप्त करने वाले कोई भी युवा बेवजह अपनी नौकरी न छोड़ें। जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती शिवकला कंवर ने कहा कि वनांचल क्षेत्रों के बसाहटों में रहने वाले विशेष पिछड़ी जनजाति परिवार के सदस्यों को रोजगार का अवसर मिलना उनके जीवन का एक नया अध्याय है।

कलेक्टर श्री अजीत वसंत ने कहा कि मुख्यमंत्री छत्तीसगढ़ शासन के दिशा-निर्देश पर जिला खनिज न्यास के माध्यम से जिले के विशेष पिछड़ी जनजाति परिवारों को चिन्हित कर योग्यतानुसार रोजगार के अवसर प्रदान किए जा रहे हैं। पूर्व में कुछ युवाओं को स्वास्थ्य विभाग में भृत्य के पद पर नियोजित किया गया था। इसी कड़ी में आज 108 युवाओं को शिक्षा विभाग अंतर्गत स्कूलों में अतिथि शिक्षक एवं भृत्य के पद पर मानदेय के आधार पर नियुक्ति प्रदान की जा रही है। कलेक्टर ने कहा कि रोजगार का यह अवसर अंतिम नहीं है। विशेष पिछड़ी जनजाति वर्ग के युवा इस कार्य को करते हुए अपने अध्ययन को जारी रख सकते हैं और उच्च शिक्षा हासिल कर इससे भी बेहतर रोजगार के अवसर प्राप्त कर सकते हैं।

इस अवसर पर जिला पंचायत सीईओ श्री संबित मिश्रा, सहायक आयुक्त श्री श्रीकांत कसेर, प्रभारी जिला शिक्षा अधिकारी श्री टी. पी. उपाध्याय आदि उपस्थित थे।

मंत्री श्री देवांगन के आग्रह पर मानदेय में की गई वृद्धि –

जिले के विशेष पिछड़ी जनजाति परिवार के शिक्षित सदस्यों को नियुक्ति प्रमाण पत्र प्रदान करने के साथ ही मुख्य अतिथि श्री लखन लाल देवांगन वाणिज्य, उद्योग एवं श्रम मंत्री ने स्कूलोें में भृत्य और अतिथि शिक्षक के रूप में कार्य करने वाले युवाओं का मानदेय की राशि में दो-दो हजार रूपए वृद्धि का आग्रह किया। जिसे कलेक्टर ने सहर्ष स्वीकार करते हुए मानदेय में वृद्धि करने की बात कही। अब 06 हजार मानदेय के बदले 08 हजार, 08 हजार मानदेय के स्थान पर 10 हजार रूपए और 10 हजार मानदेय के स्थान पर 12 हजार रूपए दिया जाएगा।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Check Also
Close