August 3, 2025 |

NEWS FLASH

Latest News
रायपुर-जबलपुर एक्सप्रेस का भव्य शुभारंभ, सीएम साय ने दिखाई हरी झंडीथाने में न्याय मांगने पहुंची महिला के साथ मारपीट, TI और स्टाफ के खिलाफ FIRरेबीज से संक्रमित मरीज की मौत, अंबेडकर अस्पताल ने जारी किया तथ्यात्मक बयानरायगढ़ के जंगल में बाघ की दस्तक, वन विभाग अलर्ट…एक्सिस बैंक में करोड़ों की धोखाधड़ी, पूर्व अधिकारी और उसकी पत्नी गिरफ्तारशर्म करो एमएस साहब ! सरकारी नौकरी की मलाई खा रहे, लेकिन बिलासपुर में चला रहे निजी क्लिनिक – कब बंद होगा ये दोहरा खेल ?1200 नशीले इंजेक्शन के साथ युवक गिरफ्तारधमतरी में गौ-तस्करी करते सात आरोपी गिरफ्तार2 लाख के ईनामी नक्सली सहित 3 नक्सली गिरफ्तारमंत्री राजवाड़े ने शबरी एंपोरियम, और गारमेंट फैक्ट्री का किया अवलोकन
नेशनलराजनीती

सिद्धू को 34 साल पुराने रोडरेज मामले में सश्रम कारावास की सजा ,आज ही जाएंगे पटियाला जेल

Gram Yatra Chhattisgarh
Listen to this article

 1988 के रोड रेज केस में सुप्रीम कोर्ट ने पंजाब कांग्रेस नेता और पूर्व क्रिकेटर नवजोत सिंह सिद्धू को एक साल सश्रम कारावास की सजा सुनाई है। सिद्धू को अब किसी भी वक्त गिरफ्तार किया जा सकता है। यह भी कहा जा रहा है कि सिद्धुू को किस भी वक्त गिरफ्तार किया जा सकता है। सुप्रीम कोर्ट ने नवजोत सिंह सिद्धू के खिलाफ दायर करीब तीन दशक पुराने इस रोड रेज के मामले में समीक्षा याचिका पर यह आदेश दिया। यह आदेश जस्टिस एएम खानविलकर और संजय किशन कौल की बेंच ने दिया।

उल्लेखनीय है कांग्रेस नेता को गैर इरादतन हत्या के आरोपों से बरी कर दिया गया था, लेकिन उन्हें स्वेच्छा से चोट पहुंचाने के अपराध का दोषी ठहराया गया था। पटियाला के सत्र न्यायालय के जज ने 22 सितंबर, 1999 को सिद्धू और उनके सहयोगी को सुबूतों के अभाव और संदेह का लाभ देते हुए बरी कर दिया था। बाद में यह मामला हाई कोर्ट होते हुए सुप्रीम कोर्ट पहुंच गया। सुप्रीम कोर्ट ने सिद्धू के खिलाफ रोड रेज मामले में नोटिस का दायरा बढ़ाने की मांग वाली एक अर्जी पर आदेश सुरक्षित रख लिया था।

वहीं पहले से चल रही समीक्षा याचिका में भी एक आवेदन दायर किया गया था। कांग्रेस नेता नवजोत सिंह सिद्धू ने शीर्ष अदालत के पहले के आदेश का हवाला देते हुए अपने खिलाफ रोड रेज मामले का दायरा बढ़ाने की मांग करने वाली याचिका का विरोध किया था। जिसमें कहा गया था कि रोड रेज (सड़क पर गुस्से में की गई मारपीट) के मामले में इस बात का कोई सुबूत नहीं है कि पीड़ित की मौत सड़क पर एक झटके से हुई। हालांकि सुप्रीम कोर्ट ने इन दलीलों का खारिज कर दिया।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Check Also
Close