July 30, 2025 |

NEWS FLASH

Latest News
महिला अधिकारी ने डीएमसी के खिलाफ की थी झूठी शिकायत ! प्रशासन की जांच में आरोप पाए गए गलत, किसके शह पर बिछाए गए थे मोहरे पढ़िए पूरी रिपोर्ट…शोक समाचार :  पत्रकार एवं छत्तीसगढ़ अखबार वितरक संघ के प्रदेश अध्यक्ष विनोद सिन्हा नहीं रहेONC BAR पर प्रशासन की चुप्पी पर उठा विवाद, विश्व हिंदू परिषद ने जताई नाराज़गीबिलासपुर कलेक्टर की अनुकरणीय पहल – पशु व जनहित में सराहनीय कदमसीएम साय ने किया ‘गौ विज्ञान परीक्षा अभियान 2025’ का शुभारंभग्रीन उद्यम की परिकल्पना को साकार करने साय सरकार दे रही विशेष पैकेज: उद्योग मंत्री श्री लखन लाल देवांगनबालको महिला मंडल ने धूमधाम से मनाया तीज महोत्सव“जब कोई साथ नहीं होता… तब ‘आगाज़ इंडिया’ साथ होता है” ‘आख़िरी सफर’ — एक संवेदनशील और मानवीय पहलकोरबा मेडिकल कॉलेज में अब ‘सफाई घोटाला’ ! एक माह का टेंडर बना 6 माह का, अपात्र फर्म को काम देने की तैयारी, 100 की जगह 200 सफाईकर्मी करने की साज़िश ?रायगढ़-रायपुर NH में बिखरे मिले मवेशियों के शव तेज रफ्तार ने ली 18 गायों की जान
छत्तीसगढ़

अंबिकापुर, जगदलपुर, कोरबा समेत देश के 234 शहरों में शुरू होंगे निजी एफएम चैनल

केंद्रीय कैबिनेट ने दी मंजूरी

Gram Yatra Chhattisgarh
Listen to this article

रायपुर  प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में केन्द्रीय मंत्रिमंडल ने निजी एफएम रेडियो चरण-3 नीति के अंतर्गत 234 नए शहरों में 730 चैनलों के लिए 784.87 करोड़ रुपये के अनुमानित आरक्षित मूल्य के साथ तीसरे बैच की आरोही (बढ़ती हुई बोली) ई-नीलामी करवाने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है। इनमे छत्तीसगढ़ के अंबिकापुर, जगदलपुर और कोरबा शहर भी शामिल हैं।

केन्द्रीय मंत्रिमंडल ने वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) को छोड़कर एफएम चैनल के वार्षिक लाइसेंस शुल्क (एएलएफ) के रूप में सकल राजस्व का 4 प्रतिशत लेने के प्रस्ताव को भी मंजूरी दी। ये 234 नए शहरों/कस्बों के लिए लागू होगा।

234 नए शहरों/कस्बों में निजी एफएम रेडियो की शुरुआत से उन शहरों/कस्बों में एफएम रेडियो की अधूरी मांग पूरी होगी, जो अभी भी निजी एफएम रेडियो प्रसारण से अछूते हैं और मातृभाषा में नए/स्थानीय कंटेंट पेश करेंगे।

इससे नए रोजगार के अवसर पैदा होंगे, स्थानीय बोली और संस्कृति को बढ़ावा मिलेगा तथा ‘वोकल फॉर लोकल’ पहल को बढ़ावा मिलेगा। अनुमोदित किए गए ऐसे कई शहर/कस्बे आकांक्षी जिलों और वामपंथी उग्रवाद प्रभावित क्षेत्रों में हैं। इन क्षेत्रों में निजी एफएम रेडियो की स्थापना से इन क्षेत्रों में सरकारी पहुंच और सुदृढ़ होगी।

शहरों/कस्बों की राज्यवार सूची और नई नीलामी के लिए स्वीकृत निजी एफएम चैनलों की संख्या अनुलग्नक के रूप में यहां संलग्न है…

 

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Check Also
Close