डबल मर्डर का खुलासा: प्रेमी ने की थी प्रेमिका और उसके बेटे की की हत्या

दुर्ग (ग्रामयात्रा छत्तीसगढ़ )। अमलेश्वर थाना क्षेत्र में हुए डबल मर्डर केस की गुत्थी को पुलिस ने 48 घंटे के भीतर सुलझा लिया है। मृतका का कोई और नहीं, बल्कि उसका प्रेमी ही कातिल निकला। आरोपी ने अपने चचेरे भाई के साथ मिलकर महिला और उसके मासूम बेटे की गला दबाकर हत्या की और शव को साड़ी में लपेटकर बोरी में भरकर कुएं में फेंक दिया। दोनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया है।
घटना का खुलासा ऐसे हुआ
22 जून को ग्राम खम्हरिया में एक बाड़ी के दो कुओं से बदबू आने की सूचना पर पुलिस ने छानबीन की। कुएं से महिला (30-35 वर्ष) और एक 8-10 साल के बालक का शव बरामद किया गया। दोनों के हाथ-पांव बंधे थे और साथ में पत्थर भी बंधा था ताकि शव ऊपर न आ सके। पुलिस ने अज्ञात आरोपियों के खिलाफ हत्या का केस दर्ज कर जांच शुरू की।
इंस्टाग्राम से शुरू हुआ था प्रेम प्रसंग
जांच के दौरान पुलिस को पता चला कि महिला की पहचान सुनीता चतुर्वेदी उर्फ पल्लवी, निवासी रायपुर के रूप में हुई है। सुनीता की आरोपी छत्रपाल सिंगौर से इंस्टाग्राम के जरिए दोस्ती हुई थी। सुनीता विधवा थी और अपने 8 वर्षीय बेटे के साथ रायपुर में रहती थी। धीरे-धीरे दोनों में प्रेम संबंध बने और शारीरिक संबंध भी स्थापित हुए।
शादी के दबाव से परेशान होकर की हत्या
सुनीता छत्रपाल पर शादी के लिए लगातार दबाव बना रही थी, जबकि आरोपी पहले ही शादी कर चुका था। पकड़े जाने के डर से उसने सुनीता और उसके बेटे की हत्या की योजना बनाई। अपने चचेरे भाई शुभम सिंगौर को बुलाकर प्लानिंग की। 18 जून को छत्रपाल ने सुनीता और उसके बेटे को स्कूटी में बिठाकर खम्हरिया गांव लाया। खेत में ले जाकर दोनों की गला दबाकर हत्या की गई और फिर साक्ष्य मिटाने के लिए दोनों के शव को कुएं में फेंक दिया।
गुमशुदगी पहले से दर्ज थी
इस घटना के बाद महिला के परिजनों ने थाना सिविल लाइंस, रायपुर में गुमशुदगी दर्ज कराई थी। उसी आधार पर दुर्ग पुलिस ने छानबीन की और तकनीकी जांच व मुखबिर से मिली जानकारी के आधार पर आरोपियों को पकड़ा।
गिरफ्तार आरोपी:
छत्रपाल सिंगौर, पिता अजेन्द्र सिंगौर, उम्र 26 वर्ष
शुभम कुमार सिंगौर, पिता विरेन्द्र सिंगौर, उम्र 22 वर्ष
इन धाराओं में केस दर्ज:
BNS की धारा 103(1), 238(ए)
हत्या, साक्ष्य मिटाने और शव छिपाने के आरोप
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इस पूरी कार्रवाई में दुर्ग पुलिस की विशेष टीम, एसीसीयू और थाना अमलेश्वर की टीम का महत्वपूर्ण योगदान रहा। पुलिस अधिकारियों का कहना है कि यह केस प्रेम, धोखा और हत्या की त्रासदी से जुड़ा भयावह उदाहरण है। आरोपी अब न्यायिक रिमांड पर हैं और आगे की जांच जारी है।