छत्तीसगढ़

ग्राम यात्रा छत्तीसगढ़ की मुहिम : RIMS रायपुर से लेकर कोरबा मेडिकल कॉलेज तक — लापरवाही और भ्रष्टाचार का एक जैसा खेल! जनता पूछ रही सवाल “क्यों नहीं हो रही कार्रवाई ?

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कोरबा। छत्तीसगढ़ में स्वास्थ्य व्यवस्था की पोल एक के बाद एक खुल रही है। ग्राम यात्रा छत्तीसगढ़ न्यूज़ नेटवर्क लगातार कोरबा मेडिकल कॉलेज और जिला अस्पताल में चल रहे भ्रष्टाचार को उजागर कर रहा है। सिक्योरिटी, हाउसकीपिंग, भोजन आपूर्ति से लेकर बिलिंग और टेंडर एक्सटेंशन तक हर स्तर पर नियम-कायदों को ताक पर रखकर घोटाले किए जा रहे हैं।

हैरानी की बात यह है कि लगातार शिकायतें, मीडिया रिपोर्ट्स और सबूतों के बावजूद अब तक जिम्मेदारों पर कोई कार्रवाई नहीं हुई। सवाल उठता है — आखिर क्यों?

ठेका खत्म… अवैध एक्सटेंशन, फर्जी बिल और घटिया खाना

कोरबा मेडिकल कॉलेज में भोजन आपूर्ति का ठेका 31 दिसंबर 2024 को खत्म हो चुका है। इसके बावजूद न नई निविदा निकाली गई, न टेंडर। फर्म अवैध एक्सटेंशन पर ठेका चला रही है। सूत्रों के मुताबिक, भोजन दर में पहले से GST शामिल है, लेकिन महीनों से टैक्स सरकार को जमा ही नहीं किया जा रहा।

इतना ही नहीं — मरीजों की संख्या फर्जी तरीके से बढ़ाकर हर माह 10-15 लाख रुपए तक का बिल लगाया जा रहा है। वहीं मरीजों को घटिया, बदबूदार और अधपका खाना परोसा जा रहा है।

जैसा हाल RIMS रायपुर का… वैसा ही कोरबा में !

यह लापरवाही और भ्रष्टाचार सिर्फ कोरबा तक सीमित नहीं है। राजधानी रायपुर स्थित RIMS मेडिकल कॉलेज की कैंटीन में भी हाल ही में खाने में कीड़ा मिलने की घटना सामने आई थी। छात्रों ने शिकायत की, विरोध किया, लेकिन कॉलेज प्रबंधन ने महज आश्वासन देकर मामला दबा दिया।

छात्रों का आरोप है कि RIMS में भी कई महीनों से घटिया खाना परोसा जा रहा है। स्वच्छता और स्वास्थ्य के नाम पर महज खानापूर्ति। यही हाल अब कोरबा मेडिकल कॉलेज में भी है। दोनों जगह एक जैसा खेल — प्रबंधन की लापरवाही, भ्रष्टाचार और रसूखदारों का संरक्षण

एमएस डॉ. गोपाल कंवर पर आरोप… लेकिन संरक्षण किसका ?

कोरबा मेडिकल कॉलेज के एमएस डॉ. गोपाल कंवर पर लगातार अनियमितता और भ्रष्टाचार के आरोप लग रहे हैं। सिक्योरिटी, हाउसकीपिंग और खाने के बिल में हेराफेरी से लेकर बिना निविदा के एक्सटेंशन तक उनकी भूमिका पर सवाल खड़े हो चुके हैं।

सूत्रों की मानें तो डॉ. कंवर को भीतरखाने सत्ताधारी रसूखदारों का संरक्षण प्राप्त है। यही वजह है कि शिकायतों के बावजूद अब तक कोई कार्रवाई नहीं हुई।

जनता पूछ रही सवाल

  • क्यों नहीं हो रही मेडिकल कॉलेज और जिला अस्पताल की ऑडिट जांच?
  • क्यों बचाए जा रहे ऐसे अफसर, जिन पर लगातार भ्रष्टाचार के आरोप?
  • क्या स्वास्थ्य मंत्री और मुख्यमंत्री तक ये खबरें नहीं पहुंच रही?
  • RIMS रायपुर और कोरबा में एक जैसी लापरवाही पर शासन चुप क्यों?

ग्राम यात्रा की जनहित मुहिम जारी

ग्राम यात्रा छत्तीसगढ़ न्यूज़ नेटवर्क ने ठान लिया है कि वह इन मुद्दों को जनता और शासन-प्रशासन तक तब तक उठाता रहेगा, जब तक दोषियों पर कार्रवाई नहीं होती।

हमारी टीम अगले चरण में दवा खरीदी, उपकरण मरम्मत और एनएचएम फंड खर्च में गड़बड़ियों का भी खुलासा करने वाली है।

यदि आपके पास भी कोरबा मेडिकल कॉलेज या किसी भी सरकारी अस्पताल में अनियमितता की जानकारी है, तो हमें भेजें। हम आपकी पहचान गोपनीय रखेंगे।

(ग्राम यात्रा छत्तीसगढ़ न्यूज़ नेटवर्क — जनता की आवाज)

 
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